Godda: जिले के बसंतराय स्थित मौलाना अब्दुल कलाम आजाद कॉलेज के प्रिंसिपल की अपहरण के बाद अपराधियों ने हत्या कर दी। शुक्रवार सुबह प्रिंसिपल डॉ नजीरुद्दीन का शव महगामा दियाजोरी के बीच पाया गया। नजीरुद्दीन का क्षेत्र में काफी नाम था। वे राजनीतिक रूप से भी सक्रिय थे। मामले में पुलिस ने घटना में संलिप्त शाकिर को अपहरण में उपयोग किये काले रंग की गाड़ी के साथ पकड़ा लिया है। पूछताछ के दौरान उसने अपहरण कर हत्या की बात स्वीकार की। उसने पुलिस को बताया कि कॉलेज विवाद में मोहम्मद नजीरूद्दीन का अपहरण किया गया और हत्या कर दी गयी। शाकिर ने पुलिस को बताया कि इसमें उसके भाई एवं परिजनों की भी संलिप्तता है। पुलिस ने इस घटना में संलिप्त मो. शाकिर उर्फ चुन्ना, अमन राज और कपिल देव दास को हिरासत में लिया गया है। अन्य लोगों को भी हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।
बताया जाता है कि प्रिंसिपल डॉ नजीरुद्दीन गुरुवार शाम को गाड़ी से बिहार के धोरैया से अपने गांव बसंतराय की ओर आ रहे थे। इस बीच झारखंड-बिहार सीमा पर कोरियाना पुल के पास हथियारबंद नकाबपोश अपराधियों ने उनकी गाड़ी को रोका और अपनी गाड़ी में बैठाकर ले गये। अपराधियों ने प्रिंसिपल के ड्राइवर को भी धमकी दी कि अगर इस बारे में किसी को बताया तो जान मार देंगे।
करीब दो घंटे के बाद ड्राइवर ने घटना की जानकारी प्रिंसिपल के घरवालों को दी, जिसके बाद इस संबंध में बसंत राय थाना क्षेत्र के परसिया गांव निवासी फातिमा खातून ने मो. नजीरुद्दीन के अपहरण की शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें जानकारी दी गई उनके पति मो नजीरुद्दीन 8 जून को सुबह करीब 8.00 बजे अपनी कार से चालक अमन राज के साथ भागलपुर के लिए निकले थे। लेकिन शाम 7 बजे तक वापस नहीं लौटे। तो उनकी पत्नी ने उन्हें फोन किया। लेकिन उनका फोन स्विच ऑफ मिला। चालक अमन राज से जानकारी मिली कि शाम साढ़े छह बजे बल्लांचक पुल गेरुआ नदी के पास से तीन व्यक्तियो ने उनका अपहरण कर लिया।
पुलिस और परिजनों ने नजीरुद्दीन की काफी खोजबीन की लेकिन उनका कोई पता नहीं चला। इसी दौरान शुक्रवार सुबह नजीरुद्दीन का शव मिला। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में ले लिया और जांच-पड़ताल शुरू की।