Araria : नौकरी दिलाने के नाम पर तीस लाख रुपए की ठगी करने वाले जालसाज को फारबिसगंज पुलिस ने पटना से गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया है। गिरफ्तारी में फारबिसगंज पुलिस के साथ पटना के बुद्धा कॉलोनी थाना के पुलिस पदाधिकारी भी मौजूद थे। गिरफ्तार आरोपित का नाम संतोष कुमार है,जो जमुई जिला अंर्तगत कल्याणपुर का रहने वाला है। इस बाबत कांड के अनुसंधानकर्ता अमित कुमार ने पटना के बोरिंग केनाल रोड स्थित फास्ट फूड की दुकान से उसे गिरफ्तार किए जाने की बात कही।
घटना के संबंध में फारबिसगंज थाना क्षेत्र के महेशमुड़ी वार्ड संख्या छह निवासी डोमी साह पिता वृद्धन साह ने विगत मार्च महीने में ठगी मामले में अंतरराज्यीय गिरोह के आधा दर्जन लोगों जिसमें महिलाएं भी शामिल हैं, के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज कराया था। जिसमें पीड़ित डोमी साह ने अपने पुत्र सुमन भारती एवं भतीजा धीरज कुमार साह के द्वारा प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी करने का हवाला देते हुए प्राथमिकी में बताया गया कि विगत 14 मार्च 2021 को हाजीपुर थाना के गराई सराय निवासी साढू पप्पू कुमार पासवान एवं उनके पिता गणेश पासवान मेरे यहां पहुंचे। जहां बातचीत के दौरान मेरे बेटे एवं भतीजा को व्यवहार न्यायालय,पटना में आदेशपाल के पद पर सीधी नियुक्ति को लेकर भरोसा दिलाते हुए विश्वास में लिया।जहां नौकरी लगाने के नाम पर तीस लाख रुपए देने की बात करते हुए दोनों छात्रों से आवेदन भरवा कर चले गए।जिसके बाद पुनः 21 मार्च 2021 को दोनों व्यक्ति अपने साथ सीतामढ़ी जिला के बेला थाना क्षेत्र के फुलहटा निवासी मोहन गुप्ता पिता सिंहेश्वर गुप्ता, झारखंड के धनबाद अंर्तगत अंगार पथरा के विकास पासवान एवं जमुई के कल्याणपुर निवासी संतोष कुमार पिता स्व.अंबिका यादव के साथ मेरे यहां पहुंचे। जिसके बाद उक्त सभी लोगों से परिचय कराया गया। परिचय के दौरान सभी व्यक्ति पटना सिविल कोर्ट के जज होने तथा नेपाल घूमने के लिए आने की बात कही।
खास बात कि उक्त आरोपितों के द्वारा भी पीड़ित को झांसा देते हुए बहुत लड़कों को सिविल कोर्ट में नौकरी देने की बात कही गई। झांसे में आने के बाद साढू पप्पू पासवान के कहने पर विकास कुमार पासवान के बैंक खाता में अलग अलग किस्तों में 8 लाख 75 हजार, गीता देवी के बैंक खाता में दो लाख रुपए जमा किए। जिसके बाद पुनः आरोपितों ने अपने अपने बैंक खाता में 15 लाख 10 हजार अग्रिम राशि के तौर पर जमा करा लिया गया तथा बाकी रूपए नियुक्ति के बाद लेने की बात कही गई। इतना ही नहीं, रूपए लेने के कुछ दिन बाद बेटा और भतिजा को इंटरव्यू के लिए पटना बुलाया गया। जहां हाई कोर्ट के बगल में अवस्थित बिहार बार काउंसिल के कमरा में इंटरव्यू लिया और कुछ दिन बाद नियुक्ति पत्र भेजते हुए दानापुर सिविल कोर्ट मे योगदान के लिए कहा गया। आगे कहा गया कि दोनों छात्र दानापुर गया जहां सभी आरोपितों के द्वारा मूल प्रमाण पत्र जमा लेते हुए एक रजिस्टर पर कई जगह हस्ताक्षर कराया गया। जिसके बाद योगदान की बात कहते हुए कार्यालय आकर प्रतिदिन काम करने का निर्देश दिया।
इस दौरान प्रतिदिन दोनों छात्र दानापुर न्यायालय जाता रहा। साथ ही फर्जी हाजिरी बनाने लगा। पीड़ित के अनुसार कुछ दिन बाद आरोपित पप्पू पासवान एवं संतोष कुमार मेरे घर पहुंचकर नियुक्ति के बाद बकाया राशि मांगने लगा। जहां पप्पू को नगद 3 लाख 90 हजार जबकि संतोष को 11 लाख दिए जाने की बात कही गई। खास बात कि ठगों ने उक्त नगद राशि प्राप्त करने के बाद स्टांप पेपर अपना अपना हस्ताक्षर भी किया। इधर दोनों छात्रों को ठगी और जालसाजी मामले की भनक लगते ही वापस घर लौट आए। जिसके बाद फारबिसगंज थाना में आरोपितों के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज कराया गया।
मामले की पुष्टि करते हुए थानाध्यक्ष आफताब अहमद ने दर्ज कांड के आलोक में पटना से अभियुक्त को गिरफ्तार किए जाने की जानकारी देते हुए न्यायिक हिरासत में जेल भेजे जाने की बात कही। उन्होंने मामले में फरार चल रहे बांकी अभियुक्तों को जल्द ही पकड़े जाने की बात कही।