राज्य में बांग्लादेशी मुस्लिम घुसपैठियों को वोट बैंक में तब्दील करने का बड़ा खेल हो रहा है
Ranchi: भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के द्वारा लगातार संताल सहित झारखंड के दूसरे क्षेत्रों में बांग्लादेशी घुसपैठियों को बसाए जाने के मुद्दे पर मुखरता के कारण झारखंड मुक्ति मोर्चा बदहवास हो गई है। दरसल यही बांग्लादेशी घुसपैठिए इस गठबंधन के वोट बैंक की राजनीति का एक हिस्सा है।
प्रतुल ने कहा कि खुद इसी सरकार के स्पेशल ब्रांच में 2 जून, 2023 को सभी उपायुक्त को पत्र लिखा था कि संथाल परगना के मदरसों में इन मुस्लिम बांग्लादेशी घुसपैठियों के सरकारी दस्तावेज को बड़े पैमाने पर संगठित तरीके से तैयार किया जाता है और फिर इन्हें प्रदेश के दूसरे हिस्से में भेजा जाता है।प्रतुल ने कहा भारतीय जनता पार्टी ने इस बांग्लादेशी मुस्लिम घुसपैठ की आवाज को संथाल परगना से लेकर केंद्रीय चुनाव आयोग तक मुखरता से उठाया है।अब गठबंधन को अपना घुसपैठियों का वोट बैंक खतरे में दिख रहा है जिसके कारण झामुमो के नेता बदहवास होकर अनर्गल बयान बाजी कर रहे हैं।
कांग्रेस विधायक शिल्पी तिर्की के द्वारा मुस्लिम घुसपैठियों और बिहारियों को एक तराजू में तौलने के मुद्दे पर झामुमो की सहमति शर्मनाक
प्रतुल ने कहा कि झारखंड मुक्ति मोर्चा ने आज कांग्रेस के विधायक नेहा शिल्पी नेहा तिर्की के उसे बयान से किनारा नहीं किया जिसमें उन्होंने बांग्लादेशी मुस्लिम घुसपैठियो की तुलना बिहारियों से कर डाली थी। प्रतुल ने कहा यह बेहद शर्मनाक और शर्मसार करने वाला वाकया है। जब आप देश के नागरिकों की तुलना जबरन देश में घुस आए घुसपैठियों के साथ करेंगे।
प्रतुल ने कहा कि 5 वर्षों से झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेतृत्व वाली सरकार प्रदेश में है। लेकिन घुसपैठियों के विषय में इन्होंने अभी तक कभी कोई बड़ा कदम नहीं उठाया। घुसपैठियों को संरक्षण देकर यह सरकार झारखंड के मुसलमान का भी अहित कर रही है क्योंकि अल्पसंख्यक कल्याण की योजनाओं को ज्यादातर यही मुस्लिम घुसपैठिए डकार जाते हैं।आदिवासियों के हितों पर भी यह लव जिहाद, लैंड जिहाद और पॉलिटिकल जिहाद के जरिए चोट कर रहे हैं। पाकुड़ के केकेएम कॉलेज में आदिवासी छात्रावास में रात में पुलिस ने बर्बरता से मारपीट की थी। उसके बाद हजारों छात्रों का जमीनी आक्रोश से भी राज्य सरकार सकते में आ गई है।
देश में हुए बांग्लादेशी मुस्लिम घुसपैठ के लिए पूर्णता केंद्र की पूर्व की कांग्रेस सरकारें जिम्मेदार
प्रतुल ने कहा कि बार-बार देश के गृह मंत्री अमित शाह और बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स को घुसपैठ के लिए जिम्मेदार मानने वाले झारखंड मुक्ति मोर्चा को याद रखना चाहिए कि संथाल परगना या देश के जो भी जनगणना के आंकड़े उपलब्ध हैं वह 2011 तक के हैं जब अंतिम जनगणना हुई थी। 1951 से 2011 के बीच संथाल परिणाम में आदिवासियों की आबादी 16% घट गई। इस पर झारखंड मुक्ति मोर्चा ने खामोशी भर ली है।
मुसलमानों की आबादी 13% बढ़ गई।इससे झारखंड मुक्ति मोर्चा उत्साहित दिख रही है। वर्ष 1951 से 2011 के बीच 85 प्रतिशत समय केंद्र में कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार ही सत्ता में थी।आखिर यह तुष्टीकरण की राजनीति नहीं तो और क्या है? प्रतुल ने कहा की बेशर्मी की सारी सीमाएं सरकार ने पार कर दी जब 6 जिलों के अधिकारियों ने उच्च न्यायालय में शपथ पत्र दाखिल कर कहा गया कि इन सीमावर्ती जिलों में कोई घुसपैठ नहीं है।प्रतुल ने कहा कि गलत शपथ पत्र उच्च न्यायालय में दाखिल करने वाले अधिकारियों पर भी मुकदमा होना चाहिए।