रांची।
झारखंड में साइबर अपराधियों द्वारा ₹10 करोड़ के ठगी करने का मामला प्रकाश में आया है। जो अब तक का सबसे बड़ा और गंभीर मामला माना जा रहा है । मामला राज्य के गढ़वा जिले से जुड़ा है। जहां भू अर्जन विभाग के खाते से साइबर अपराधियों ने ₹10 करोड़ की निकासी कर ली है। इसमें विभाग के कुछ कर्मियों और पदाधिकारियों पर भी संदेह जताया जा रहा है। मामले का खुलासा मंगलवार को आयोजित दिशा की बैठक के दौरान हुई। जब बैठक में मौजूद विधायक भानु प्रताप शाही ने जिले के खरौंधी थाना क्षेत्र के डोमनी नदी में बनने वाले बराज के मामले में इसके अधूरे होने पर पदाधिकारियों से पूछताछ की । उन्होंने कहा कि यह पैसा गरीब किसानों का था। जिसकी गलत तरीके से निकासी की गई है । मौके पर जिले के डीसी राजेश कुमार पाठक ने कहा कि यह मामला साइबर क्राइम का है। इसकी जांच के लिए कमेटी बनाई गई है। बहुत जल्द मामले का खुलासा कर लिया जाएगा।
रैयतों को भुगतान के लिए आवंटित की गई थी राशि
जानकारी अनुसार जिले के खरौंधी थाना क्षेत्र के डोमनी नदी पर बनने वाले बराज को लेकर रैयत ओं को मुआवजा देने के लिए भू अर्जन विभाग को बड़ी रकम आवंटित की गई थी । जिसमें से 10 करोड़ की निकासी साइबर अपराधियों ने कर ली है। बराज निर्माण का शिलान्यास 2014 में तत्कालीन विधायक द्वारा किया गया । बराज के निर्माण को लेकर की गई भूमि का अधिग्रहण के मामले में राज्य सरकार द्वारा रयैतों को मुआवजा के तौर पर दिए जाने वाले राशि के लिए भू अर्जन विभाग को करोड़ों रुपए आवंटित की गई थी । साइबर अपराधियों द्वारा खाते से निकाली गई राशि में किसकी मिलीभगत है इसका अभी तक खुलासा नहीं हो पाया है।
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