कोलकाता। कलकत्ता हाई कोर्ट के निर्देश पर पुनर्विचार अर्जी दाखिला करने जा रहे नारद स्टिंग कांड के आरोपित चारों फिरहाद हकीम, सुब्रत मुखर्जी, मदन मित्रा और शोभन चटर्जी जैसे हैवीवेट नेता। वहीं सीबीआई सुप्रिम कोर्ट में कैवियेट दाखिल करने की कर रही तैयारी। आज ही संभवतः कैवियट दाखिल किया जा सकता है। ताकि एकतरफा फैसला ना दिया जाए।
- एक बार पहली भी लाया गया था अस्पताल, लेकिन इलाज कराए बगैर लौट गए थे जेल- दोबारा तकलीफ होने पर लाया गया अस्पताल, सात में पत्नी भी थीं मौजूद
आरोपित मंत्री सुब्रत मुखर्जी को भी मंगलवार को एसएसकेएम अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। उन्हें एसएसकेएम अस्पताल के वूडवर्न वार्ड के कमरा नंबर 102 में रखा गया है। उनके बगल वाले कमरे यानी 103 में विधायक मदन मित्रा और 106 में पूर्व मंत्री शोभन चटर्जी भर्ती हैं। मालूम हो कि सांस लेने में तकलीफ होने पर इस दिन तड़के बाकी के दो हैवीवेट नेताओं के साथ ही 75 वर्षीय सुब्रत मुखर्जी को भी प्रेसिडेंसी जेल से एसएसकेएम अस्पताल ले जाया गया, लेकिन वह जांच करवाए बगैर वापस जेल लौट गए थे। पर दिन चढ़ने के साथ ही उनकी तकलीफ बढ़ने लगी, तो दोबारा उन्हें एसएसकेएम अस्पताल लाकर भर्ती कराया गया। इस दौरान मंत्री सुब्रत की पत्नी भी उनके साथ मौजूद
- प्रेसिडेंसी जेल के बाहर फूट-फूट कर रोई पूर्व मंत्री शोभन चटर्जी की महिला मित्र वैशाखी – कहा- सारी दवाइयें मेरे पास हैं, शोभन हाई ब्लड शुगर के मरीज, लेनी पड़ती है इंसूलेन – दवाईयां नहीं लेने से ही बिगड़ी है तबीयत, जानवरों की तरह व्यवहार कर रही सीबीआई
मंगलवार तड़के उतनी तबीयत बिगड़ गई और उन्हें दक्षिण कोलकाता स्थित एसएसकेएम अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इस बीच ड्रामा भी चलता रहा। सीबीआई की विशेष अदालत से पहले जमानत फिर कलकत्ता हाई कोर्ट से जेल हिरासत मिलने के बाद तृणमूल के बाकी दो मंत्रियों फिरहाद हकीम और सुब्रत मुखर्जी के अलावा विधायक मदन मित्रा के साथ शोभन चटर्जी को भी केंद्रीय बलों की कड़ी सुरक्षा के बीच प्रेसिडेंसी जेल ले जाया गया। कुछ देर बाद उनकी महिला मित्र वैशाखी बनर्जी भी प्रेसिडेंसी जेल पहुंच गई, लेकिन उन्हें मुख्य गेट पर ही रोक दिया गया।
इस पर वह फूट-फूट कर रोने लगी। वह बार-बार सुरक्षा कर्मियों से गुहार लगाती रहीं कि कम से कम शोभन की दवाइयां उनसे पास पहुंचाने दें। वैखाशी ने कहा कि शोभन की सारी दवाइयां उनके पास ही है। शोभन हाई ब्लड शुगर के मरीज हैं। शुगर का स्तर 500 के उपर है। उन्हें इन्युलिन लेनी पड़ती है। इसके लिए कुछ न कुछ खाना पड़ता है। पर सोमवार की सुबह सीबीआई उन्हें घर से उठा ले गई। दिनभर कुछ खाने को नहीं मिला। एक बूंद पानी भी पीने को नहीं दिया गया। वैशाखी ने राज्यपाल से भी मदद की गुहार लगाई और कहा कि वे आकर देखें कि सीबीआई किस तरह जानवरों की तरह व्यवहार कर रही है। ऐसा कोई दुश्मन के साथ भी नहीं करता है। काफी मिन्नतों से बात भी जब बात नहीं बनी तो वैशाखी वहां से लौट आई।
मंगलवार की सुबह शोभन की तबीयत खराब होने संबंधी सवाल पूछे जाने पर वैशाखी ने बताया कि रात में एसएसकेएम अस्पताल में शोभन ने केवल एक कप चाय और बिस्कुट खाया है। उससे पहले कई घंटों शोभन को सीबीआई दफ्तार में रखा गया और कुछ भी खाने-पीने को नहीं दिया गया। शोभन सीउपीडी की समस्या से भूगत रहे हैं। इंसुलिन और दवाइयां नहीं ले पाने के कारण सांस लेने में तकलीफ हुई और अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा।
बतातें चलें कि शोभन की गिरफ्तारी की खबर सून कर दिन में ही उनकी पत्नी व तृणमूल विधायक रत्ना चटर्जी मिलने पहुंच गई थीं। काफी देर तक मौके पर रहीं। हालांकि महिला मित्र वैशाखी बनर्जी से करीबी के चलते वर्तमान में शोभन चटर्जी का उनकी पत्नी रत्ना के साथ तलाक का मामला चल रहा है, जो अदालत में लंबित है।