पटना।
विधानसभा चुनाव को लेकर एनडीए के घटक दलों में चल रही तनातनी के बीच रविवार को लोजपा ने गठबंधन से खुद को अलग करने का फैसला लिया है। लोजपा संसदीय दल की दिल्ली में रविवार को हुई एक अहम बैठक में यह फैसला लिया गया कि पार्टी एनडीए में मिली सीट की पेशकश को अस्वीकार कर अकेले चुनाव लड़ेगी। हालांकि पार्टी ने यह भी कहा है कि राज्य में चुनाव नतीजों के बाद वह भारतीय जनता पार्टी के साथ मिलकर सरकार का गठन करेगी।
लोजपा संसदीय बोर्ड की चिराग पासवान की अध्यक्षता में हुई बैठक के बाद पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव अब्दुल खालिक ने बताया कि विधानसभा चुनाव में गठबंधन में मौजूद जदयू से वैचारिक मतभेद के कारण बिहार में पार्टी ने गठबंधन से अलग चुनाव लड़ने का फैसला किया है। हालांकि राष्ट्रीय स्तर पर लोकसभा चुनाव में भाजपा व लोक जनशक्ति पार्टी का मजबूत गठबंधन है और वह आगे भी बना रहेगा। लोजपा महासचिव ने कहा कि बिहार चुनाव परिणामों के उपरांत तमाम जीते हुए विधायक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकास मार्ग के साथ रहकर राज्य में भाजपा लोजपा की सरकार बनाएंगे। लोजपा के इस फैसले से पार्टी के राज्य के 142 सीटों पर चुनाव लड़ने की संभावना जताई गई है। इसमें कुछ सीटों पर भाजपा के साथ फ्रेंडली मुकाबला होने की भी संभावना है। इधर एनडीए से लोजपा के अलग होने के बाद भाजपा और जदयू के गठबंधन द्वारा किसी भी वक्त सीट बंटवारे की घोषणा करने की उम्मीद है।