नई दिल्ली।
देश की सरहदों की करीब 30 वर्षो तक सेवा करने के बाद भारतीय नौसेना का आईएनएस विराट शनिवार को अपने अंतिम सफर पर निकला। आईएनएस विराट का नाम दुनिया में सबसे लंबे समय तक सेवा देने को लेकर गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में भी दर्ज है। आईएनएस विराट ने मई 1987 से मार्च 2017 तक भारतीय नौसेना की सेवा की है। इतने लंबे समय तक सेवा देने वाले देश के इस युद्धपोत को विरासत के तौर पर संरक्षित करने को लेकर अभियान भी चलाया गया था। लेकिन अब इसे तोड़कर ढेर में बदल दिया जाएगा। देश का यह इकलौता लड़ाकू विमान वाहक पोत है जिसने ब्रिटेन और भारत की नौ सेनाओं में सेवाएं दी है। ग्रांड ओल्ड लेडी के नाम से पहचाने जाने वाला आई एन एस विराट मई 1987 में भारतीय नौसेना के परिवार का हिस्सा बना था। 6 मार्च 2017 को इसे सेना से रिटायर कर दिया गया था। पिछले साल जुलाई में केंद्र सरकार ने संसद में कहा था कि आई एन एस विराट को स्क्रैप करने का फैसला भारतीय नौसेना की उचित सलाह के बाद दिया गया है। इस बीच इसे विरासत के तौर पर संरक्षित करने को लेकर इसे संग्रहालय या रेस्त्रां में तब्दील कर जीवन दान देने की भी कोशिश हुई लेकिन सारी कोशिश तब बेकार हो गई जब गुजरात के अलंग स्थित श्री राम समूह ने 38. 54 करोड रुपए की बोली लगाकर इसे खरीद लिया। शनिवार की सुबह मुंबई डॉकयार्ड पर इसे नौसैनिकों ने भाव पूर्ण तरीके से विदाई दी। इसी के तहत यह युद्धपोत गुजरात के भावनगर जिले के अलंग तक की अपनी आखिरी सफर पर निकल पड़ा। आईएनएस विराट ने देश के लिए कई बार महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। जुलाई 1989 में श्रीलंका में शांति स्थापना के लिए ऑपरेशन जूपिटर में हिस्सा लिया। वहीं 2001 के संसद हमले के बाद ऑपरेशन पराक्रम में भी अहम भूमिका निभाई थी।