नई दिल्ली।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मंगलवार लोकसभा में भारत- चीन सीमा पर जारी तनाव के संबंध में सदस्यों को वहां की ताजा स्थिति से अवगत कराया। रक्षा मंत्री सिंह ने सदस्यों को बताया कि चीन ने लद्दाख में भारत की लगभग 38000 वर्ग किलोमीटर भूमि पर अनाधिकृत कब्जा किया है। उन्होंने लद्दाख सीमा का दौरा कर वहां के हालात की समीक्षा की है। साथ ही देश के शूरवीर के अदम्य साहस शौर्य और पराक्रम को महसूस किया है। रक्षा मंत्री ने सदस्यों को बताया कि वर्ष 1993 एवं 1996 में हुए समझौते में दोनों देशों के बीच सीमा पर कम से कम सैनिक तैनात करने की रजामंदी हुई थी अप्रैल माह में पूर्वी लद्दाख की सीमा पर चीन की सेना और उनके आयुध में वृद्धि देखी गई है। रक्षा मंत्री सिंह ने कहा कि मई महीने की शुरुआत में चीन ने गलवान घाटी क्षेत्र में हमारी सेना के सामान्य पारंपरिक गश्त को रोकना शुरू किया। जिसके कारण तनाव की स्थिति उत्पन्न हुई। उन्होंने कहा कि चीन का इस प्रकार की हरकत देश कभी भी बर्दाश्त नहीं करेगा। रक्षा मंत्री ने कहा कि भारत पड़ोसियों के साथ घरेलू संबंधों के लिए आपसी सम्मान और आपसी संवेदनशीलता को आवश्यक समझता है। उन्होंने कहा कि चीन की तरफ से 29 और 30 अगस्त की रात को उत्तेजक सैनिक कार्रवाई की गई, जिसका भारतीय सैनिकों ने करारा जवाब दिया। मंत्री ने सदस्यों को आश्वस्त किया कि सरकार भारत के सुरक्षा हितों का पूरा ख्याल रख रही है। उन्होंने कहा कि चीन के साथ आपसी तनाव को कम करने के लिए 4 सितंबर को मास्को में चीनी समकक्ष के साथ चर्चा हुई। मौके पर उन्होंने सीमा पर काफी संख्या में सैनिकों की तैनाती आक्रामक व्यवहार और एकतरफा स्थिति को बदलने की कोशिश से संबंधित बातों को रखा।